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Content:
> “हर दिन की छोटी समझदारी,
कल के बड़े सुकून की शुरुआत होती है।
थोड़ा बचाना, थोड़ा संभालना,
यही सबसे प्यारी दौलत है।
क्योंकि जो रोज़ थोड़ा रुक जाता है,
वही एक दिन मुस्कुराते हुए चलता है।”
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Content:
> “हर दिन की छोटी समझदारी,
कल के बड़े सुकून की शुरुआत होती है।
थोड़ा बचाना, थोड़ा संभालना,
यही सबसे प्यारी दौलत है।
क्योंकि जो रोज़ थोड़ा रुक जाता है,
वही एक दिन मुस्कुराते हुए चलता है।”
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